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मंगलवार, सितंबर 3

रेशम

जब भी रेशम का
जिक्र होता है
आँखों के सामने
तेरा व्यक्तित्व
झूमने लगता है
कुमार अहमदाबादी

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जब जब होती है बेमौसम बरसात  शोले बन जाते हैं मीठे हालात  कहती है बरसात आओ तुम भीगो हौले हौले फिर भीगेंगे जज़बात  कुमार अहमदाबादी